नई दिल्ली : पिछले दिनों विश्व हिंदू परिषद (विहिप) ने औरंगजेब की कब्र को हटाने की मांग की थी। इसके बाद पूरे देश में औरंगजेब को लेकर नई बहस छिड़ गई थी। अब विहिप के एक प्रतिनिधिमंडल ने दिल्ली में स्थित हुमायूं के मकबरे का दौरा किया है। विहिप की ओर से इसे इतिहास का अध्ययन करने का दौरा बताया गया है, लेकिन माना जा रहा है कि इसके बाद अब हुमायूं के मकबरे को लेकर भी नई बहस छिड़ सकती है। विहिप नेताओं ने शीघ्र ही सफदरजंग के मकबरे का भी दौरा करने की बात कही है।
हुमायूं के मकबरे का दौरा करने के बाद जारी एक बयान में विश्व हिंदू परिषद के प्रतिनिधिमंडल के अगुवा और दिल्ली में संगठन के प्रांत मंत्री सुरेंद्र गुप्ता ने कहा है कि यह निरीक्षण ऐतिहासिक संदर्भों का अध्ययन करने के उद्देश्य से किया गया है। यह रिपोर्ट बाद में केंद्र सरकार को सौंपी जाएगी। इसको किसी राजनीतिक मुद्दे से जोड़कर नहीं देखा जाना चाहिए। विहिप ने इन मकबरों के नाम परिवर्तित करने की मांग नहीं की है। संगठन ने कहा है कि मकबरे का नाम नहीं बदला जा सकता, लेकिन सड़कों के नाम दूसरे ऐतिहासिक नायकों के नाम पर रखा जाना चाहिए।
सुरेंद्र गुप्ता ने कहा कि हम दिल्ली प्रांत के ऐतिहासिक संदर्भ में अध्ययन कर रहे हैं। विभिन्न कालखंडों के शासकों को आवंटित भूमि और उनके योगदान का विश्लेषण करना हमारा उद्देश्य है। उन्होंने कहा कि क्या केवल यही नायक-नायिकाएं दिल्ली के इतिहास से जुड़े हुए हैं? आनंदपाल तोमर, जिनका शासन 300 वर्षों तक रहा, उनके लिए दिल्ली में आज तक कोई स्मारक क्यों संरक्षित नहीं किया गया? जबकि उनकी तुलना में चंद वर्षों तक ही दिल्ली में शासन करने वाले शासकों के न केवल मकबरे बने हैं, बल्कि सड़कों इत्यादि के नाम उनके नाम पर रखकर उन्हें महिमामंडित करने का प्रयास भी किया गया है।