नई दिल्ली : राजधानी दिल्ली के लाजपत नगर में आतंक के फंडिंग नेटवर्क का खुलासा करते हुए कश्मीर पुलिस की काउंटर इंटेलिजेंस यूनिट ने ‘शालीमार टेक्सटाइल्स’ नाम की एक फर्म पर छापेमारी की। दरअसल कश्मीर की काउंटर इंटेलिजेंस यूनिट ने UAPA तहत एक FIR दर्ज की थी और इसी मामले में जांच के दौरान दिल्ली में बैठे आतंकी फंडिंग के स्लीपर नेटवर्क की जानकारी जम्मू-कश्मीर पुलिस को मिली थी। इसके बाद ये छापेमारी की गई।
बिजनेस की आड़ में लश्कर-ए-तैयबा के लिए फंडिंग : गिरफ्तार किए गए लोगों में एक का नाम मोहम्मद अयूब भट है, जो बडगाम (कश्मीर) का रहने वाला है और दिल्ली में ‘शालीमार टेक्सटाइल्स’ नाम से कपड़े का व्यापार करता था। दूसरा आरोपी मोहम्मद रफीक शाह, श्रीनगर के बेमिना इलाके का निवासी है। दोनों पर आरोप है कि ये लोग बिजनेस की आड़ में लश्कर-ए-तैयबा के लिए फंडिंग का काम कर रहे थे।
जम्मू-कश्मीर पुलिस की काउंटी इंटेलिजेंस यूनिट की जांच में खुलासा हुआ है कि पाकिस्तान से ऑपरेट कर रहे LeT के हैंडलर खाड़ी देशों में बसे पाकिस्तानी नागरिकों की मदद से पैसा कश्मीर भेज रहे थे। ये पैसे हज यात्रियों, प्रवासी मजदूरों और व्यापारियों के जरिए हवाला नेटवर्क से कश्मीर पहुंचाए जा रहे थे।
छापेमारी में डिजिटल डिवाइसेज़, संदिग्ध चैट्स बरामद : पुलिस को छापेमारी में डिजिटल डिवाइसेज़, संदिग्ध चैट्स, विदेशी ट्रांजैक्शन और आतंकी हैंडलरों से बातचीत के सबूत मिले हैं। जांच एजेंसियां अब इन इलेक्ट्रॉनिक सबूतों की गहराई से फॉरेंसिक जांच कर रही हैं, जिससे आतंकी फंडिंग के इस नेटवर्क के तार कहां तक फैले है पता लगाया जा सके।
दिल्ली पुलिस के साथ मिलकर छापेमारी : जम्मू-कश्मीर पुलिस ने बताया कि दिल्ली पुलिस के साथ मिलकर काउंटर-इंटेलिजेंस टीमों ने एनआईए अधिनियम के तहत जारी वारंट पर लाजपत नगर स्थित परिसरों की तलाशी ली। यह कार्रवाई यूएपीए मामले के तहत चल रही व्यापक जांच का हिस्सा है। पुलिस ने आगे कहा कि आरोपियों से प्रारंभिक पूछताछ से पता चलता है कि इसमें एक अंतरराष्ट्रीय आतंकी वित्तपोषण नेटवर्क शामिल है, जिसमें विदेशी संचालक, खाड़ी क्षेत्र के समर्थक और स्थानीय ओवरग्राउंड वर्कर (ओजीडब्ल्यू) शामिल हैं।